Thursday, August 18, 2011

अपनी टीम से सावधान हो जाओ अन्ना


                अन्ना की टीम में उल्फा आतंकवादी कमान्डर अखिल गोगई
                             
अखिल भारत हिन्दू महासभा स्वागत समिति के अध्यक्ष डॉ0 संतोष राय ने एक प्रेस विज्ञप्ति द्वारा समाज सेवी अन्ना हजारे को सावधान किया और कहा कि अन्ना की टीम में कुछ ऐसे लोग शामिल हो गये हैं जिनका संबंध नक्सल आतंकवाद व इस्लामिक आतंकवाद से है. डॉ0 राय ने अन्ना को उल्फा आतंकवादी कमान्डर अखिल गोगई, स्वामी अग्निवेश, पियूष गुहा, बौद्धीसत्व राय, संदीप पांडे जैसे नक्सली आतंकियों जिन्हें इस्लामिक आतंकवादी संगठनों की पोषक पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई वित्तीय मदद करती है, से पूरी तरह से सजग व चौकस रहने को कहा.

डॉ0 संतोष राय ने  अखिल गोगई का अन्ना की टीम में शामिल होने पर घोर आपत्ति जताते हुये कहा कि- असम के मुख्यमंत्री श्री तरूण गोगई ने गत  24 जून 2011 को अखिल गोगई को उल्फा आतंकवादी करार कर गिरफतार कर लिया था व उस पर रासुका के तहत कार्यवाही करने को पूरी तैयारी थी जिसे नक्सली व इस्लामिक  आतंकवाद समर्थक गिरोह के अग्निवेश, बौद्धीसत्व राय ,मेधा पाटकर व संदीप पांडे ने विरोध  में 25 जून को असम बंद, 26 जून को रेल रोको अभियान व 27 जून को जेल भरो अभियान किया व अखिल गोगई की गिरफ्तारी का विरोध किया। अखिल गोगई के काम से खुश उल्फा आतंकवादी  गिरोह का सरगना परेश बरूआ जिसे पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई से वित्तीय सहायता मिलती है, ने इसकी प्रशंशा की थी. 

डॉ0 संतोष राय ने स्वामी अग्निवेश के बारे में कहा कि स्वामी अग्निवेश कां संबंध नक्सल आतंकवाद और इस्लामिक आतंकवाद से है. स्वामी अग्निवेश और नक्सलियों का मददगार विनायकसेन के संबंध जगजाहिर है. स्वामी अग्निवेश कश्मीरी अलगाववादियों को गले लगाने व इस्लामिक आतंकियों का पूरी तरह से समर्थन व उनसे वित्तीय मदद भी लेता है, जो अमेरिका में फई की गिरफ्तारी से पता चल गया है. नक्सली आतंकियों का समर्थक स्वामी अग्निवेश जो अहमदाबाद में थप्पड़ भी खाया था, जिसे छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा कट्टर नक्सली घोषित किया गया है, अन्ना की छवि को दागदार बना सकता है.

देश द्रोही नक्सली आतंकवादी पियूष गुहा की जमानत कराने वाले वकील शान्ति भूषण और प्रशांत भूषण नाम के बाप-बेटे अन्ना की टीम में दो काले धब्बे हैं जिनके कारण विरोधियों को अन्ना के उपर कीचड़ उछालने को मौका देता है। ज्ञात रहे कि पीयूष गुहा को  राजद्रोह के मामले में मानवाधिकार कार्यकर्ता बिनायक सेन के साथ गिरफ्तार किया गया था और दोषी ठहराए जाने के बाद उम्रकैद की सजा सुनाई गई थी।कोलकाता के उद्योगपति गुहा को सेन तथा नक्सली विचारधारा के समर्थक नारायण सान्याल के साथ देश के खिलाफ युद्ध के लिए एक नेटवर्क स्थापित करने की खातिर नक्सलियों के साथ सांठगांठ करने का दोषी ठहराया गया था। इन लोगों को निचली अदालत ने उम्रकैद की सजा सुनाई थी। निचली अदालत के फैसले को गुहा ने छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट में चुनौती दी थी जिसने उन्हें इस मामले में जमानत देने से इंकार कर दिया था। लेकिन शांति भूषण और प्रशांत भूषण जैसे देशद्रोही वकीलों ने सुप्रीम कोर्ट से जमानत कराया था.

इसी के साथ अरुंधती राय जैसी नक्सली आतंकवाद की पोषक व कश्मीर में इस्लामिक आतंकवाद को हवा देने व कश्मीर को भारत से अलग करने की वकालत करने वाली ऐसी देशद्रोही  आतंकी मानसिकता के लोगों ने  अन्ना के मन-मस्तिष्क को अपने कब्जे में  ले लिया है. अमेरिका में गिरफ्तार फई ने अरूंधतीराय को वित्तीय मदद देने की बात स्वीकार किया है.
वहीं शान्ति भूषण और प्रशांत भूषण जैसे वकील सर्वोच्च न्यायालय में मात्र एक घंटा समय देने के लिए 25 लाख रूपये लेते  हैं, क्या वे भ्रष्टाचार के खिलाफ जंग के सफल सिपाही हो सकते हैं ?
अखिल भारत हिन्दू महासभा के वरिष्ठ नेता पं0 बाबा नंद किशोर मिश्रा ने भी अन्ना को नक्सली व इस्लामिक आतंकियों के समर्थकों से सावधान रहने को कहा है।

2 comments:

vedvyathit said...

sadhuvad bhut prishrm kiya hai sch ujagr krna bhut bdi desh seva hi hai bndhu
nirntr sadhna krte rhen
pun sadhuvad

Anonymous said...

By aggressively avoiding everybody else in the political space and announcing possibility of dialogue exclusively with MMS and Rahul, it seems very obvious now that "Anna is a Congress plant and he has usurped / hijacked the simmering discontent amongst Indians towards creating conducive environment and a India wide youth platform for Rahul ".