डॉ0 संतोष राय
यह एक
कटु सत्य है
कि आज भारतीय
महाद्वीप में जितने भी
मुसलमान हैं , उनके पूर्वज कभी हिन्दू
थे , जिनको मुस्लिम
बादशाहों ने जबरन
मुसलमान बना दिया
था . लेकिन
दुर्भाग्य की बात है
कि विदेशी पैसों
के बल पर इस्लाम के
एजेंट ऐसे हिन्दुओं
का धर्म परिवर्तन कराने में लगे
रहते हैं , जो इस्लाम की असलियत
से अनभिज्ञ हैं ,
या जिनको
हिन्दू धर्म का आधा अधूरा
ज्ञान होता है ,
और दुर्भाग्य से ऐसे
हिन्दू युवक , युवतियां सेकुलर विचार वाले होते हैं , तो इस्लाम के प्रचारक
आसानी से उनको इस्लाम जाल में
फसा लेते हैं , इसलिए इस्लाम के
चक्कर में फसने
से बचने का एक ही
उपाय है ,कि इस्लाम के
एजेंटों से तर्कपूर्ण
सवाल किये जाएँ
. क्योंकि इस्लाम सिर्फ ईमान लाने
पर ही जोर
देता है , और अगर कोई इस्लाम
के दलालों से
सवाल करता है ,
तो यातो
वह भड़क जाते हैं
, या लड़ने
पर उतारू हो
जाते हैं .
अक्सर देखा
गया है कि
कुछ उत्साही हिन्दू
इस्लाम के समर्थकों
के साथ शाश्त्रार्थ किया करते
हैं , इसलिए उनकी सहायता के लिए दस ऐसे
सवाल दिए जा
रहे हैं , जिनका सटीक ,
प्रमाण सहित
और तर्कपूर्ण जवाब
कोई मुल्ला मौलवी नहीं
दे सकता .
1-.मुसलमानों का दावा
है कि कुरान
अल्लाह की किताब है ,लेकिन
कुरान में बच्चों
की खतना करने का
हुक्म नहीं है , फिर भी मुसलमान
खतना क्यों कराते है ? क्या अल्लाह में
इतनी भी शक्ति
नहीं है कि मुसलमानों के
खतना वाले बच्चे
ही पैदा कर सके ?और कुरान के विरद्ध
काम करने से
मुसलमानों को काफ़िर
क्यों नहीं माना जाए
?
2-मुसलमान मानते हैं
कि अल्लाह ने फ़रिश्ते
के हाथो कुरआन
की पहली सूरा
लिखित रूप में मुहम्मद
को दी थी , लेकिन अनपढ़ होने से वह उसे
नहीं पढ़ सके ,
इसके
अलावा मुसलमान यह
भी दावा करते हैं कि
विश्व में कुरान एकमात्र ऐसी
किताब है जो पूर्णतयः
सुरक्षित है , तो मुसलमान कुरान
की वह सूरा
पेश क्यों नहीं
कर देते जो अल्लाह
ने लिख कर भेजी थी , इस से तुरंत पता हो जायेगा कि वह कागज
कहाँ बना था ? और अल्लाह की
राईटिंग कैसी थी ?वर्ना
हम क्यों नहीं
माने कि जैसे अल्लाह फर्जी
है वैसे ही कुरान
भी फर्जी है
3. इस्लाम के
मुताबिक यदि 3 दिन/माह का
बच्चा मर जाये तो उसको कयामत के दिन क्या मिलेगा.-जन्नत या जहन्नुम ? और किस
आधार पर ??
4. मरने के बाद
जन्नत में पुरुष को 72 हूरी (अप्सराए)
मिलेगी...तो स्त्री को क्या मिलेगा...... 72 हूरा (पुरुष वेश्या) .??और अगर कोई
बच्चा पैदा होते ही
मर जाये तो
क्या उसे भी हूरें
मिलेंगी ? और वह हूरों
का क्या करेगा ?
5.- यदि मुसलमानों की
तरह ईसाई , यहूदी और हिन्दू
मिलकर मुसलमानों के विरुद्ध
जिहाद करें ,
तो क्या मुसलमान
इसे धार्मिक कार्य
मानेंगे या अपराध
? और क्यों ?
6-.यदि कोई गैर
मुस्लिम (काफ़िर) यदि अच्छे गुणों
वाला हो तो भी. क्या अल्लाह उसको जहन्नुम की आग में झोक देगा....? और क्यों ?और, अगर ऐसा करेगा
तो.... क्या ये अन्याय नहीं हुआ ??
7.कुरान के
अनुसार मुहम्मद सशरीर
जन्नत गए थे ,
और
वहां अल्लाह से बात भी
की थी , लेकिन जब अल्लाह
निराकार है , और उसकी कोई
इमेज (छवि) नहीं है तो..मुहम्मद ने अल्लाह को कैसे देखा ??और
कैसे पहिचाना कि यह
अल्लाह है , या शैतान है ?
8- मुसलमानों का दावा
है कि जन्नत जाते
समय मुहम्मद ने
येरूसलम की बैतूल
मुक़द्दस नामकी मस्जिद में
नमाज पढ़ी थी ,लेकिन वह मुहम्मद के
जन्म से पहले ही रोमन
लोगों ने नष्ट
कर दी थी . मुहम्मद के
समय उसका नामो निशान
नहीं था , तो मुहम्मद ने उसमे नमाज कैसे पढ़ी थी ? हम मुहम्मद को झूठा
क्यों नहीं कहें ?
9-.अल्लाह ने अनपढ़
मुहम्मद में ऐसी कौनसी
विशेषता देखी .
जो उनको अपना
रसूल नियुक्त कर दिया
,क्या उस
समय पूरे अरब में एकभी
ऐसा पढ़ालिखा व्यक्ति नहीं
था , जिसे अल्लाह रसूल
बना देता , और जब अल्लाह
सचमुच सर्वशक्तिमान है ,
तो
अल्लाह मुहम्मद को 63
साल में भी अरबी
लिखने या पढने की
बुद्धि क्यों नहीं दे पाया
10.जो व्यक्ति
अपने जिहादियों की
गैंग बना कर जगह जगह लूट
करवाता हो ,
और लूट के माल से बाकायदा अपने लिए पाँचवाँ हिस्सा (20 %० ) रख लेता
हो , उसे उसे
अल्लाह का रसूल कहने की
जगह लुटरों का
सरदार क्यों न
कहें ?
नोट- यह
प्रश्नावली भंडाफोडू ब्लॉग
के लेखों से चुन
कर बनायी गयी
है , जो पिछले 7
सालों से इस्लाम के नाम पर
होने वाले आतंक और
हिन्दू विरोधी जिहाद
का भंडा फोड़
करता आया है .
इन लेखों का उद्देश्य इस्लाम
की असलियत लोगों
को बताना है , क्योंकि इस्लाम
धर्म नहीं एक
उन्माद है ,
जो विश्व
के लिए विशेष
कर भारत के लिए खतरा
है . पाठकों से निवेदन
है कि
वह भंडाफोडू ब्लॉग
और फेसबुक में
इसी नाम के
ग्रुप के लेखों को
ध्यान से पढ़ें ,
और उनका
प्रचार प्रसार करें .
इनकी लिंक दी जा रही
है
http://bhaandafodu.blogspot.in/
https://www.facebook.com/groups/bhandafoduu/
आप हमारे इस लेख को नीचे दिये लिंक पर चटखा लगाकर पढ़ सकते हैं:
http://bhaandafodu.blogspot.in/2014/11/blog-post.html
2 comments:
Yeh batain jo h. Saab tu khud an padh h isliye bol raha h. Allah tujhe hidayat de.
Tu Agar Hindu h tu Jawab de mobile ki pooja kyu nahi karta.
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